'अगर हिन्दू और मुसलमान ईमान से आपस में मोहब्बत करते तो कितना अच्छा होता।' इस कथन से हामिद खाँ के चरित्र की किस विशेषता का पता चलता है?
मित्र इस वाक्य से पता चलता है कि हामिद खाँ किसी से भेदभाव नहीं करता। वह चाहता है कि हिन्दु-मुस्लिम आपस में मिलजुल कर रहेें।