tibbat me bhi bharat ki tarah atihithi devo bhava ki pratha hai path ke aadhar par spast kijia

तिब्बत में आए अतिथि का स्वागत होता है। उसे अजनबी कहकर घर से निकाल नहीं दिया जाता है। उसके लिए मक्खन तथा नमक से बनी चाय बनाकर दी जाती है। रहने के लिए घर में जगह दी जाती है। इसलिए कहा गया है कि तिब्बत में भी भारत की तरह अतिथि देवो भवः की प्रथा विद्यमान है।

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