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प्रिय छात्र,

राष्ट्रभाषा के बिना कोई भी राष्ट्र गूंगा होता है। किसी भी देश की पहचान और उसकी अस्मिता उसकी राष्ट्रभाषा सेे होती है। 14 सितंबर 1949 को हिंदी को संघ की राजभाषा घोषित किया गया।14 सितंबर का दिन प्रतिवर्ष 'हिंदी दिवस' के रूप में मनाया जाता है। इस दिन हिंदी को संघ की राजभाषा का स्थान मिला था इसलिए यह हमारे लिए गौरवपूर्ण दिन है। प्रत्येक देश की अपनी राष्ट्रभाषा होती है। सारा सरकारी तथा अर्ध-सरकारी काम उसी भाषा में किया जाता है। वही शिक्षा का माध्यम भी है। कोई भी देश अपनी राष्ट्रभाषा के माध्यम से ही विकास-पथ पर अग्रसर होता है। संसार के सभी देशों ने अपने देश की भाषा के माध्यम से ही अनेक आविष्कार किए हैं। जितने भी विकसित देश है सभी ने अपनी राष्ट्रभाषा को बहुत महत्व दिया है। मनुष्य अपना मौलिक चिंतन और अपनी विचारधारा अपनी भाषा केे अनुसार विकसित करता है।

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