gramya jivan par lekh likhiye

मित्र इस विषय पर हम कुछ पंक्तियाँ लिखकर दे रहे हैं बाकी आप स्वयं इसे विस्तारपूर्वक लिखिए-

भारत को गाँवों का देश कहा जाता है। ये हमारे राष्ट्र की प्राचीन सभ्यता और संस्कृति के प्रतीक हैं। गाँव हमारे राष्ट्र की धरोहर हैं।गाँव का नाम आते ही खेत-खलिहान, तालाब, शुद्ध वायु व पक्षियों का मीठा कलरव दृष्टि पटल पर आने लगते हैं। वहाँ का सादगी भरा जीवन तथा शुद्ध वातावरण लोगों को अपनी ओर आकर्षित करता है। वह शहरों की चहल-पहल और शहरी तौर-तरीकों से बिल्कुल अलग हैं। वहाँ आज भी भारत सही मायनों में जीवित हैं। भारतीय संस्कृति की छाप इन्हीं गाँवों में देखी जा सकती है। यही हमारी संस्कृति को संभाले हुए हैं। गांव न हो तो हम कबके अपनी सभ्यता से अलग-थलग हो जाएँ। यहाँ आकर मानो जैसे प्राचीन भारत साकार हो जाता है।

यहाँ पके रीति-रिवाज मन में प्रसन्नता की लहर उत्पन्न कर देते हैं। खेतों की हरियाली मन तथा तन दोनों को भाव-विभोर कर देती हैं। यहाँ का विकास शहरों की अपेक्षा कम हैं परन्तु यहाँ का रहन-सहन में भारतीयता के रंग बिखरे हुए हैं। भारत अलग-अलग राज्यों से जुड़कर बना है। हर राज्य की अपनी संस्कृति और सभ्यता है। गाँव उन्हीं की झाँकी प्रस्तुत करते हुए हमें स्वयं पर गर्व महसूस करवाते हैं।

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