नयी श्रेणी में जाने और नयी कापियों और पुरानी किताबों से आती विशेष गंध से लेखक का बालमन क्यों उदास हो उठता था?
हर वर्ष जब लेखक नयी श्रेणी मे आता तो उसे उनके हैडमास्टर जी एक अमीर घर के बच्चे की किताबें उन्हें लाकर दे देते थे क्योंकि लेखक के घरवालों को पढ़ाई में कोई रूची नहीं थी, वे उसपर पैसा भी नहीं खर्चना चाहते थे। इन्हीं पुरानी किताबों से लेखक ने सात साल निकाले। इसलिए नयी श्रेणी में आने पर भी लेखक को कोई ऐसा चाव महसूस होता था। लेकिन सब लोग समझते थे कि नये मास्टर, पिटाई, मुश्किल पढ़ाई उनकी अरूचि का कारण थी। लेकिन लेखक नयी कापियों और पुरानी किताबों की गंध से उदास हो गया था।