please give meaning of doha on:
"rahiman auche naran sao, bar bhali na priti|
kate chate swann ke , dou bhati vipiriti||"
कवि कहते हैं कि ओछे मनुष्य की न दुश्मनी भली होती और न दोस्ती।
ये कुत्ते के समान स्वभाव के होते हैं, कभी प्यार करते हैं और कभी काट खाते हैं।
ये कुत्ते के समान स्वभाव के होते हैं, कभी प्यार करते हैं और कभी काट खाते हैं।