Please give the exlpaination of poem bache kaam par jaa rhe hai .

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'बच्चे काम पर जा रहे हैं' यह कविता बाल मजदूरी की ओर हमारा ध्यान आकर्षित करती है। भारत एक विशाल जनसमूह वाला देश है। यहाँ पर गरीबी और अशिक्षा का विस्तार है। लोग गरीबी के कारण भूखे मरने के लिए विवश हैं। धन का अभाव अशिक्षा को बढ़ावा देता है। गरीब बच्चों को खेलने-कूदने और पढ़ने की उम्र में मजदूरी करने के लिए विवश होना पड़ता है। गरीबी के कारण माता-पिता बच्चों से उनका बचपना छीनकर उनके हाथों में काम सौंप देते हैं। कवि राजेश जोशी हमारे समाज में व्याप्त इस समस्या से आहत हैं। अपनी कविता के माध्यम से वह समाज को जागृत करना चाहते हैं ताकि बच्चों के बचपन को काम की भट्टी में झौंकने से रोका जा सके। यह हमारे देश के लिए बड़ी शोचनीय बात है। लेखक पूरी कोशिश करता है कि इस कविता के माध्यम से देश और समाज के सम्मुख प्रश्न रख सके कि यह बच्चे क्यों काम पर जा रहे हैं। कहीं न कहीं इसमें देश और समाज का दोष है जो कि यह बच्चे काम पर जा रहे हैं। इनके बचपने को नष्ट होने से रोकने के लिए कवि ने इस कविता की रचना की है।

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