Please help me in writing an 700 words essay in hindi on this topic

मित्र
 हम आरंभ करके दे रहे हैं। आपसे अनुरोध है कि आप इसे विस्तारपूर्वक लिखिए।

संसार, इंसान से बनता है। जीवन कभी भी एक रूप में नहीं चलता। प्रत्येक पड़ाव के बाद बदलाव आते हैं। बदलाव की क्षमता ही बुद्धिमता का  परिचायक है।  बदलाव की आवश्यकता है, तो वह केवल इंसान में है क्योंकि समय वही रहता है और मनुष्य की सोच  उसकी आवश्यकता अनुसार बदलती रहती है। नई और अच्छी बातें मनुष्य सोचता है और नए नए अविष्कार करता है। बुद्धिमता इसी में है कि मनुष्य लकीर का फकीर ना रहकर  नए-नए  अध्ययन और खोज करके  बदलाव  लाए। यदि इंसान में बदलाव होता है, तो संसार में अपने आप हो जाएगा। बुद्धिमता इसी में है कि हम पुरानी रीति को भुलाकर स्वयं में बदलाव करें। आधुनिकता ने मनुष्य के जीवन में बहुत बदलाव किए हैं। मनुष्य की जीवन शैली बदल गई है। अब वह भागने लगा है, उसके लिए रूकने के लिए समय नहीं है। 

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