Both outer and inner personality of chasmewala

प्रिय विद्यार्थी , 

आपके प्रश्न का उत्तर है - 
कैप्टन चश्मेवाला एक मरियल सा दिखने वाला लंगड़ा और बूढ़ा व्यक्ति था । उसका पहनावा भी बहुत साधारण था , हमेशा सर पर एक गाँधी टोपी और आँखों पर काला चश्मा लगाए रहता था । पेशे से एक फेरी लगाने वाला व्यक्ति भी देशभक्ति में किसी से पीछे नहीं रहता है , लेखक ने उसके चरित्र के माध्यम से यह दर्शाने की कोशिश की है । नेताजी की मूर्ति पर चश्मा नहीं होने के कारण वह चश्मेवाला अपने चश्मों में से एक मूर्ति पर फिट कर देता है । और वह जब तक जीवित रहता है , मूर्ति पर चश्मे बदलते रहते हैं । देश के प्रति उसकी श्रद्धा को देखते हुए हालदार साहब भी उसके समक्ष नतमस्तक हो जाते हैं । लेखक ने उसके चरित्र के माध्यम से देशभक्ति को परिभाषित करने कोशिश की है ।  

आभार। 

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