कारक
कारक का सामान्य प्रयोग
वे शब्द जो वाक्य में क्रिया के साथ प्रत्यक्ष संबंध दर्शाते हैं, कारक कहलाते हैं। तथा जिन प्रत्ययों से कारकों का अर्थ प्रकट होता है, विभक्ति कहलाते हैं।
हिन्दी भाषा में जिस प्रकार से कर्ता का क्रिया के साथ संबंध बताने के लिए इन कारकों का प्रयोग किया जाता है, वैसे ही संस्कृत भाषा में विभक्तियों का प्रयोग होता है।
संस्कृत भाषा में संबंध को कारक नहीं माना गया है क्योंकि संबंध का क्रिया से प्रत्यक्ष संबंध नहीं होता है।
जैसे:
राज्ञपुरुष: गच्छति।
अर्थात, राजा का पुरुष जाता है।
यहाँ राजा का गच्छति क्रिया से संबंध नही है। अत: इसे कारक की संज्ञा नहीं दी जा सकती है।
एक उदाहरण की सहायता से आप कारक तथा विभक्ति को सम…
To view the complete topic, please